Motivational Stories in Hindi


शार्ट मोरल स्टोरी इन हिंदी||शार्ट मोटिवेशनल स्टोरी इन हिंदी विथ मोरल||moral stories in hindi|| motivation story hindi||Motivational Stories in Hindi

 किसान और बैल की कहानी पढ़ने के लिए यहांक्लिक करें।


                   "जीवन एक गूंज है"

नम्रता सबके साथ रखें,मगर नजदीकी बहुत कम के साथ, और उन्हें भी भरोसा करने से पहले अच्छी तरह परख ले।

एक छोटा बच्चा अपनी मां से नाराज होकर चिल्लाने लगा," मैं तुमसे नफरत करता हूं।" उसके बाद वह फटकारे जाने के डर से घर से भाग गया। वह पहाड़ियों के पास जाकर चीखने लगा।" मैं तुमसे नफरत करता हूं, मैं तुमसे नफरत करता हूं" और वही आवाज गूंजी" मैं तुमसे नफरत करता हूं 'मैं तुमसे नफरत करता हूं " उसने जिंदगी में पहली बार कोई गूंज सुनी थी। वह डरकर बचाव के लिए अपनी मां के पास भागा और बोला घाटी में एक बुरा बच्चा है। जो चिल्लाता है," मैं तुमसे नफरत करता हूं मैं तुमसे नफरत करता हूं"उसकी मां सारी बात समझ गई और उसने अपने बेटे से कहा कि वह पहाड़ी पर जाकर फिर से चिल्ला कर कहे," मैं तुमसे प्यार करता हूं ,मैं तुमसे प्यार करता हूं" छोटा बच्चा वहां गया और चिल्लाया "मैं तुमसे प्यार करता हूं ' मैं तुमसे प्यार करता हूं और वही आवाज गूंजी इस घटना से बच्चे को एक सीख मिली हमारा जीवन एक बूंद की तरह है हमें वही वापस मिलता है जो हम देते हैं।

   "जब आप दूसरों के लिए अच्छे बना जाते है,
   तो खुद के लिए और भी बेहतर बन जाते है"

                      "आंतरिक प्रेरणा"

एक लड़का फुटबाल खेलने कि प्रेटिक्स करने लगातार आता था,लेकिन वह कभी टीम में शामिल नहीं हो सका। जब वह प्रेक्टिस करता हम था,तो उसके पिता मैदान के किनारे बैठ कर उसका इंतजार करते रहते थे।मैच शुरू हुए तो वह लड़का चार दिन तक प्रैक्टिस करने नहीं आया। वह क्वार्टर फाइनल और सेमीफाइनल मैचों के दौरान भी नहीं दिखा। लेकिन वह लड़का फाइनल मैच के दिन आया और उसने कोच के पास जाकर कहा, "आपने मुझे हमेशा बिछड़े खिलाड़ियों में रखा और कभी टीम में खेलने नहीं दिया, लेकिन कृपा करके आज मुझे खेलने दे। "
कोच ने कहा, "बेटा मुझे दुःख है की मै तुम्हे यह मौका नहीं दे सकता। टीम में तुमसे अच्छे खिलाड़ी मौजूद है। इसके अलावा यह फाइनल मैच है। स्कूल की  इज्जत दांव पर लगी है। मै तुम्हे मौका देकर खतरा मोल नहीं ले सकता।" लडके ने मिन्नत करते हुए कहा, सर मै आपसे वादा करता हूं कि मैं आपके विश्वास को नहीं तोड़ूंगा। मेरी आपसे विनती है कि मुझे खेलने दे।" कोच ने इससे पहले लडके को कभी इस तरह विनती करते हुए नहीं देखा था। उसने कहा,"ठीक है बेटे, जाओ खेलो लेकिन याद रखना की मैंने यह निर्णय, अपने ही बेहतर फैसले के खिलाफ लिया है और स्कूल की इज्जत दांव पर लगी है। मुझे शर्मिंदा न होना पड़े।"
      खेल शुरू हुआ और लड़का तूफान की तरह खेला। उसे जब भी गेंद मिली, उसने गोल मार दिया। कहना न होगा कि वह उस मैच का हीरो बन गया। उसकी टीम को शानदार जीत मिली।
  
   खेल खत्म होने के बाद कोच ने उस लड़की के पास जाकर कहा, "बेटा, मै इतना गलत कैसे हो सकता हूं? मैंने तुम्हे पहले कभी इस तरह खेलते हुए नहीं देखा। यह चमत्कार कैसे हुआ? तुम इतना अच्छा कैसे खेल गए?" लडके ने जवाब दिया,"कोच,आज मेरे पिताजी मुझे खेलते हुए देख रहे थे।" कोच ने मूड कर उस जगह पर देख जंहा पर उसका पिता जी आ कर बैठा करते थे, लेकिन वहा पर कोई भी नहीं था। उसने लड़के से पूछ"बेटा, तुम जब भी प्रैक्टिस करने आते थे, तो तुम्हारे पिताजी वहां बैठा करते थे। लेकिन आज वहा पर किसी को नहीं दे रहा हूं।" लडके ने उत्तर दिया,"कोच मैंने कभी आपको यह नहीं बताया कि मेरे पिताजी अंधे थे। चार दिन पहले उनकी मृत्यु हो गई। आज पहली बार वह मुझे ऊपर से देख रहे है।"
        

        "भगवान मौका सब को देता है"

भाग्य उनकी मदद करता है,जो अपनी मदद खुद करते है।।

एक कस्बे में बाढ़ आई ।एक आदमी के सिवा वहा रहने वाले हर आदमी किसी सुरक्षित स्थान पर जा रहे  थे। जिस आदमी ने अपनी जगह नहीं छोड़ी, उसका कहना था," मुझे विश्वास है कि भगवान मेरी रक्षा करेगा। "पानी के स्तर बढ़ने पर उसको बचाने एक जीप आई। लेकिन उस आदमी ने यह कह कर जाने से मना कर दिया कि मेरे को मेरे भगवान बचाने आएंगे। जैसे ही  पानी का स्तर और बढ़ा तो वह मकान की छत पर चला गया। तब उसकी मदद के लिए एक नाव आई । लेकिन उस नाव वाले से भी यही कह कर इन्कार कर दिया कि मुझे विश्वास है कि मेरे को बचाने मेरे भगवान आएंगे।" पानी का स्तर बढ़ता जा रहा था। वह आदमी अपने मकान की दूसरी मंजिल की छत पर चला गया। उसकी मदद के लिए हेलीकॉप्टर आया। लेकिन उस आदमी ने अपनी वही बात फिर दोहराई" मुझे विश्वास है, भगवान मेरी रक्षा करेगा।" आखिरकार वह आदमी पानी में डूब कर मर गया। भगवान के पास पहुंचने पर उसने उनसे गुस्से भरे लहजे में सवाल किया, "मुझे आप पर पूरा विश्वास था, फिर आपने मेरी प्रार्थना को अनसुना कर मुझे डूबने क्यों दिया?" भगवान ने जवाब दिया"तुम क्या सोचते हो - तुम्हारे पास जीप, नाव और हेलीकॉप्टर किसने भेजा था?"

           """इसका अंत कहा है?"""

एक लालची किसान से कहा गया कि वह दिन में जितनी जमीन पर चलेगा, वह उसकी हो जाएगी, बशर्ते वह सूरज डूबने तक शुरू करने की जगह पर वापस लौट आए। ज्यादा से ज्यादा जमीन पाने के लिए वह किसान दूसरे दिन सूरज निकलने से पहले ही निकल पड़ा।वह काफी तेजी से चल रहा था क्योंकि वह ज्यादा से ज्यादा जमीन हासिल करना चाहता था। थकने के बावजूद वह सारी दोपहर  चलता रहा,क्योंकि वह जिंदगी में दौलत कमाने के लिए हासिल हुए उस मौके को गंवाना नहीं चाहता था।
     दिन ढलते वक्त उसे वह शर्त याद आईं कि सूरज डूबने से पहले शुरुवात की जगह पर पहुंचना है। अपनी लालच की वजह से वह उस जगह से काफी दूर निकल आया था। वह वापस लौट पड़ा। सूरज डूबने का जैसे जैसे समय नजदीक आता तो वह जल्दी जल्दी चलना शुरू करता। वह बुरी तरह से थक कर हाफने लगा, फिर भी वह बर्दाश्त से अधिक तेजी से दौड़ता रहा। नतीजा यह हुआ कि सूरज दुंटर - डूबते वह शुरुवात वाली जगह पर पहुंच तो गया, पर उसका दम निकल गया,और वह मर गया। उसको दफना दिया गया, और उसको दफनाने के लिए दो गज जमीन की जरूरत पड़ी।।


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